प्रेम- रंग
प्रेम का रंग मुझ पर
कुछ यूँ चढ़ने लगा |
मन बिखरने लगा,
तन संवरने लगा |
जाने कैसे ?
लोगों को पता चल गया |
उन्हें अखरने लगा,
मन भी डरने लगा |
सोचती हूँ!
तुमसे कैसे कहूँ?
ज़िन्दगी का फलसफा
अब बदल सा गया |
मन दूसरों के मन पढ़ने लगा,
बातें भी कुछ समझने लगा |
लगता है!
यह सब तेरा ही है असर,
तभी तो सब बदलने लगा |
जीवन रंगीन लगने लगा |
मैंने जाना!
प्रेम की शक्ति को
मन सबसे जुड़ने लगा |
सच कहूँ!
प्रेम ही में यह रमने लगा |
- डॉ० उपासना पाण्डेय, प्रयागराज
परिचय —
नाम -डा० उपासना पाण्डेय

पिता का नाम- स्व० हरिनारायण पाण्डेय
माता का नाम- श्रीमती सावित्री पाण्डेय
पति का नाम- श्री मृत्युंजय पाण्डेय
पता : 237/151 बाघम्बरी हाउसिंग स्कीम, भरद्वाजपुरम्, प्रयागराज -211006
उत्तर प्रदेश
दूरभाष नं० -8318764116
जन्मस्थान – प्रयाग (14-10-1980 )
शिक्षा – परास्नातक (संस्कृत)-लब्ध स्वर्णपदक, डी०फिल०, इलाहाबाद विश्वविद्यालय, इलाहाबाद।
भाषा ज्ञान – हिन्दी, संस्कृत, अंग्रेजी व उर्दू ।
मानद उपाधि –
1- अखिल भारतीय हिन्दी संस्थान,इलाहाबाद
“साहित्य श्री” (2008)
2- अखिल भारतीय हिन्दी संस्थान, इलाहाबाद
” राष्ट्रभाषा गौरव ” (2009)
3- हिन्दी साहित्य सम्मेलन, प्रयाग ” वाग्विदेश्वरी “(2009)
4- ‘कमल की कलम’ (2018) द्वारा आयोजित ‘ कविता- आमंत्रण’ में प्रशस्ति पत्र प्रदान किया गया।
5 – भाषा सहोदरी हिन्दी के द्वारा अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी अधिवेशन-2018 में प्रशस्तिपत्र
6 – मातृभाषा उन्नयन संस्थान के द्वारा ‘भाषा सारथी सम्मान’2018
7- राष्ट्रीय कवि चौपाल- शाखा दौसा के द्वारा ‘शारदा सम्मान’2019
8- ई- पत्रिका स्टार ब्लॉग व कवि चौपाल के द्वारा ‘ स्टार हिन्दी साहित्यकार सम्मान’2019
9- मातृका विवेक , प्रयागराज से ‘मातृका एकता सम्मान’ 2020
10- परशुराम शुक्ल बाल साहित्य पुरस्कार 2019-2020
…..आदि
💐विभिन्न पत्रिकाओं एवं वेबसाइट पर शोधपत्र, लेख, कहानियाँ , लघुकथाएँ व कविताएँ प्रकाशित हैं।
प्रकाशित साझा संकलन :-
१- काव्य संकलन –
“हिन्दी सागर”, “काव्य मंजूषा”, “हरियाली”,
“जीवन के रंग, दर्पण के संग”व” अटल आह्वान”
२- बालकाव्य संकलन-
“लकड़ी की काठी” 1&2
३- कथा संकलन –
“सहोदरी” व “पाठक की लाठी”
💐प्रकाशित काव्य संग्रह
1- प्रेमानंद राधेश्याम (अन्तरा शब्दशक्ति प्रकाशन)
2 -बचपन के झरोखे से
(वर्जिन साहित्यपीठ प्रकाशन)
3- अतुल्य ! भारत
( वर्जिन साहित्यपीठ प्रकाशन)
4- उपासना के मोती (मुक्तक संग्रह)
( अंतराशब्दशक्ति प्रकाशन )
5- नारी हूँ मैं !
(वर्जिन साहित्यपीठ प्रकाशन)
6- प्रेम प्रसून
(वर्जिन साहित्यपीठ प्रकाशन)
💐प्रकाशित कहानी संग्रह
1- बन्धन रिश्तों का
( वर्जिन साहित्यपीठ प्रकाशन)
बहुत बहुत शुभकामनाएं और बधाई आदरणीया
डॉ उपासना पाण्डेय जी!
अजयश्री टाइम्स व सभी पाठकों को हार्दिक धन्यवाद🙏💕
प्रेम मे ही यह रमने लगा बहुत ही सुन्दर भाव पूर्ण रचना
Stupendous
अतीव सुंदर सृजन
बधाई उपासना जी
नमन
Beautiful creation
शानदार प्रेम पर भावाभिनय रचना मन के भावो के साथ।